✍️हरिश्चंद्र प्रोफेसर डॉ गीता रानी ने लगाए गम्भीर आरोप


Varanasi
:- वाराणसी दक्षिणी विधानसभा से चुनाव में ताल ठोक रही डॉ गीता रानी हरिश्चंद्र की प्रोफ़ेसर का पर्चा निरस्त किए जाने पर लगाए कई गंभीर आरोप।

👉पत्रकार से साक्षात्कार में उन्होंने बताया कि वह दक्षिणी विधानसभा से चुनाव लड़ने के लिए जब से प्रचार प्रसार कर रही थी तभी से हिंदुओ का वोट कट जाने के डर से उनको चुनाव लड़ने से मना किया जाने लगा। उनका कहना है कि मैंने 10 दिनों से डोर टू डोर प्रचार करना शुरू कर दिया था। नीलकंठ तिवारी के लोगों द्वारा मुझे मना किया गया कि अखिल भारतीय हिंदू महासभा से लड़ेंगे तो हमारा हिंदू का वोट कटेगा। मैंने उनका नहीं सुना 17 तारीख को नामांकन किया था और मुझे फोन किया गया आप ऐसा कीजिए कि नामांकन तो हो गया है आप बैठ जाइए नहीं तो हिंदू वोट कट जाएगा नहीं तो नामांकन रद्द किया जाएगा। मैंने एक अच्छा अधिवक्ता किया था नामांकन के लिए उसमें कोई कमी नहीं थी। जानबूझकर वहां पर पुलिस प्रशासन द्वारा मुझे जानबूझकर उलझाया गया, अंदर नहीं जाने दिया गया, जब 11:15 बज गया तब मैं अंदर गई, तब रिटर्निंग ऑफिसर ने कहा कि आपका टाइम खत्म हो गया हैं, मैं नहीं ले सकता। फिर एक वकील के जरिए पता चला कि आपका पर्चा निरस्त जानबूझकर हुआ है। महिला सशक्तिकरण की बात पूछे जाने पर कहा कि महिला सशक्तिकरण एक झूठ मूठ का नारा है जब नारी की बात होती है तो हमारे अधिकार का दमन  किया जाता हैं। जानबूझकर पर्चा निरस्त किया जाता है। 

👉पत्रकार द्वारा पूछे जाने पर की बात किया जाए गुरु और शिष्य की तो समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी किशन दीक्षित की आप गुरु हैं तब ऐसे में आपका आशीर्वाद किस पर रहेगा। उनका कहना था कि अगर वह आते हैं तब उन पर तो मेरा आशीर्वाद रहेगा और रही बात नीलकंठ तिवारी की तो वह भी इसी कालेज के शिष्य रहे हैं जो कालेज को कभी पलट कर देखा नहीं कि शिक्षक की हालत क्या रही है, लेकिन किशन दीक्षित हमारा बच्चा है उसके ऊपर मेरा आशीर्वाद रहेगा।

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