✍️✍️ ऑपरेशन ब्लैड से हमला करने तथा एससी/एसटी एक्ट के मामले में अभियुक्त को मिली जमानत
बचाव पक्ष की ओर से अदालत में अधिवक्ता संकल्प गुप्ता, मोहसिन खान एवं शिवेंद्र मणि त्रिपाठी ने पक्ष रखा
वाराणसी: विशेष न्यायालय (एससी/ एसटी) एक्ट के न्यायाधीश राकेश पांडेय की अदालत ने ऑपरेशन ब्लैड से हमला करने तथा एससी/एसटी एक्ट के मामले में अभियुक्त राजा उर्फ़ सरफराज पुत्र स्व रेयाजू निवासी बादशाह बाग थाना सिगरा जिला वाराणसी को जमानत दे दी। बचाव पक्ष की ओर से अदालत में अधिवक्ता संकल्प गुप्ता, मोहसिन खान एवं शिवेंद्र मणि त्रिपाठी ने पक्ष रखा।
👉अभियोजन के अनुसार वादी मुकदमा गोलू पुत्र जगदीश निवासी लल्लापुर थाना सिगरा जिला वाराणसी ने दिनांक 26.03.2020 को थाना सिगरा जिला वाराणसी पर प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज करायी कि दिनांक 25.03.2020 को शाम 7.00 बजे शब्जी लेने जा रहा था कि पूर्व परिचित राजा पूछा कि कहा जा रहे हो तो वह कहा कि शब्जी लेने। तो राजा ने कहा कि मेरे लिये गुटखा लेते आना प्रार्थी द्वारा इन्कार करने पर उसको मां बहन की भद्दी-भद्दी गालियां देते हुये चमार सियार की जाति बताकर हाथ में लिये आपरेशन के ब्लेड से कहा कि तुम्हारा काम तमाम कर देते है और जान से मारने की नियत से ताबड़तोड़ हमला कर लहूलुहान कर दिया। प्रार्थी को बीशो जगह चोटे आयी है। मुहल्ले वालो के बीच-बचाव के कारण उसकी जान बची। उसको जान से मारने के लिये उसके गले की नश काट रहा था जिससे उसके जबड़े, सीना और पेट पर कई चोटे आयी। इस आधार पर थाना सिगरा, वाराणसी पर आवेदक/अभियुक्त व अन्य के विरुद्ध धारा 323, 504, 506, 324 भा०दं० सं० एवं धारा 3(1) (द), 3(1)(ध) अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम में अभियोग पंजीकृत किया गया तथा विवेचना के उपरान्त आवेदक/अभियुक्त के विरुद्ध धारा 323, 504, 506, 324 भा० दं० सं० एवं धारा 3(1)(द), 3(1) (थ) अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम में आरोप-पत्र प्रेषित किया गया।
👉 अभियुक्त की ओर से अदालत में विद्वान अधिवक्ता द्वारा तर्क दिया गया कि अभियुक्त को गलत ढंग से झूठा फसाया गया है तथा अभियुक्त द्वारा वादी मुकदमा के खिलाफ पंजीकृत कराए गए एनसीआर 48/2020 धारा 323,504 आईपीसी थाना सिगरा वाराणसी से बचने के लिए झूठा फसाया गया है। उसके द्वारा कोई मारपीट नहीं की गई और ना ही गाली व जान से मारने की धमकी दी गई और ना ही जाति सूचक शब्दों से अपमानित किया गया है।
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